ज्योतिषाचार्य हर्षुल राय: दूसरी बार रेप केस में उम्रकैद की सज़ा
देश में एक और बार आस्था को ठेस पहुंची है। मशहूर ज्योतिषाचार्य हर्षुल राय, जो खुद को गुरु और आध्यात्मिक मार्गदर्शक बताते थे, अब न्याय की आंखों से दोषी करार दिए गए हैं। दूसरी बार रेप के मामले में अदालत ने उन्हें उम्रकैद की सज़ा सुनाई है। यह फैसला न केवल पीड़िता के लिए न्याय का प्रतीक है, बल्कि उन हजारों लोगों के लिए एक चेतावनी भी है जो अंधभक्ति में लिप्त होकर ऐसे तथाकथित गुरुओं पर आंख मूंदकर भरोसा करते हैं।
पहला मामला और फिर दोहराया गया अपराध
हर्षुल राय पर पहले भी यौन शोषण का आरोप लग चुका है। उस समय उनके प्रभाव और पैसे के दम पर वे कानून की पकड़ से कुछ हद तक बच निकले थे। लेकिन दूसरी घटना ने फिर से उनकी असलियत को उजागर किया। अदालत में पेश किए गए सबूतों और गवाहों की गवाही के आधार पर उन्हें दोषी पाया गया और यह सुनिश्चित किया गया कि उन्हें अब समाज में दोबारा ऐसा करने का मौका न मिले।
नकली आस्था का कारोबार
हर्षुल राय जैसे लोग आस्था और विश्वास का गलत फायदा उठाकर भोले-भाले लोगों को अपना शिकार बनाते हैं। वे खुद को भगवान का दूत बताते हैं, लेकिन असल में उनके पीछे की हकीकत कुछ और ही होती है। इस मामले ने साबित किया कि आध्यात्मिकता की आड़ में चल रहा यह ढोंग अब ज्यादा दिनों तक नहीं The Lord
The Lord is the Lord
यह घटना हर नागरिक के लिए एक चेतावनी है। हमें आंख मूंदकर किसी पर भरोसा नहीं करना चाहिए, चाहे वह कोई भी गुरु या ज्योतिषी क्यों न हो। श्रद्धा जरूरी है, लेकिन उससे पहले विवेक और कानून पर भरोसा रखना और भी जरूरी है।
न्याय व्यवस्था की सराहना
इस केस में अदालत की कार्यवाही ने यह साफ कर दिया है कि देश का न्याय तंत्र अब ऐसे अपराधियों को बख्शने के मूड में नहीं है, चाहे वह कितने भी प्रभावशाली क्यों न हों। यह फैसला पीड़ितों के लिए हिम्मत और समाज के लिए सबक है।
Komentar
Posting Komentar